सिवनी( संवाददूत ) - थाना बरघाट के प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए माननीय पुलिस अधीक्षक महोदय सिवनी द्वारा जघन्‍य सनसनी खेज  की श्रेणी मे रखा गया था एंव इसकी विवचेना थाना प्रभारी के द्वारा की गई थी ।

                    घटना का संक्षिप्‍त विवरण इस प्रकार है कि दिनांक 14/11/2022 को नाबालिग पीडिता, उम्र 13 वर्ष 10 माह, सुबह 09 बजे घर से अपनी साईकिल से बाल दिवस मनाने स्‍कूल जा रही थी रास्‍ते में तालाब के पार के उपर एक व्‍यक्ति खडा मिला जिसकी उम्र 30-35 वर्ष थी उस व्‍यक्ति ने सामने से गुजरती हुई पीडिता की साईकिल का केरियर पकडकर रोका और साईकिल से उतार कर घसीटते हुए तालाब की पार के नीचे खेत के पास झाडियो में पलाश के पेड के नीचे लेटाकर  उसका मुंह दबाकर उसके साथ गलत काम किया,  आरोपी का हाथ मुह से हटाने पर पीडिता जोर जोर से चिल्‍लाई आवाज सुनकर एक व्‍यक्ति वहा पहुचा पीडिता ने घटना की सारी बात उसे बताई, पुलिस को फोन किया गया, तत्काल थाना डुंडासिवनी से पुलिस घटनास्थल पहुची ओर पीड़िता को महिला थाना सिवनी लेकर गई जहा पीड़िता ने रिपोर्ट दर्ज करवाई किन्तु घटना स्थल थाना बरघाट के अंतर्गत आने के कारण रिपोर्ट असल कायमी हेतु बरघाट थाना भिजवाई गई,थाना प्रभारी बरघाट द्वारा आरेापी सलीम पिता स्‍व0 सत्‍तार खान उम्र 35 वर्ष निवासी बम्‍होडी जिला सिवनी के विरूद्ध अपराध क्रमांक 628/2022, धारा  376(3), 341 IPC 3,4  लैगिक अपराधो से बालको का संरक्षण अधिनियम 2012  पंजीबद्ध किया गया । विचेचना उपंरात अभियोग पत्र माननीय विशेष न्‍यायाधीश(पाक्‍सो) जिला सिवनी की न्‍यायालय में प्रस्‍तुत किया गया

              शासन की ओर से श्रीमति दीपा ठाकुर, विशेष लोक अभियोजक सिवनी के द्वारा गवाहो और सबूतो को प्रस्‍तुत किया गया एंव विधि संगत तर्क प्रस्‍तुत किए गए उक्‍त प्रकरण में एफएसएल रिपोर्ट नाकरात्‍मक होने से डीएनए प्रोफाईल प्रस्‍तुत नही किया गया था, माननीय न्‍यायालय द्वारा पीडिता एवं उसके माता के कथन एवं मेडीकल साक्ष्‍य के आधार पर आज दिनांक 27/10/2023 को निर्णय पारित करते हुए आरेापी सलीम खान को धारा 3 सहपठित धारा 4 लैगिंक अपराधो से बालको का संरक्ष्‍ाण अधि‍नियम 2012  मे आजीवन कारावास एंव 2000 रूपये अर्थदण्‍ड, धारा 366 ए भादवि में 5 वर्ष एंव 500 रूपये, धारा 341 भादवि में 1 माह, 100 रूपेय का  अर्थदण्‍ड से दण्डित किया गया । लैगिंक अपराधो से बालको का संरक्षण अधि‍नियम 2012 की धारा 33(8) के तहत आरोपी से प्राप्‍त अर्थदण्‍ड की संपूर्ण राशि पीडिता को प्रदान करने हेतू आदेश पारित किया गया ।

प्रतिकर अधिनियम 2015 के अतर्गत पीडिता को 1 लाख रूपये राहत राशि प्रदान करने हेतू आदेशित किया गया ।

नोट:- आरोपी घटना दिनांक 14/11/2022 से आज निर्णय दिनांक 27/20/2023 तक जेल में निरूद्ध है।